New Delhi, 27 सितंबर . जमाअत-ए-इस्लामी हिंद के उपाध्यक्ष प्रो. सलीम इंजीनियर ने लद्दाख में हाल ही में हुई हिंसा और चार लोगों की मौत पर गहरी चिंता जताई है. उन्होंने कहा कि लद्दाखवासियों की राज्य का दर्जा, छठी अनुसूची में समावेश, जनजातीय अधिकारों की रक्षा और पारिस्थितिकी संरक्षण जैसी मांगें जायज हैं और Government को इन पर तत्काल कदम उठाने चाहिए.
प्रोफेसर सलीम इंजीनियर ने कहा, “जमाअत-ए-इस्लामी हिंद लद्दाख से आ रही खबरों से अत्यंत चिंतित है. हम Government और लद्दाख के लोगों से अपील करते हैं कि वे रचनात्मक बातचीत और सामूहिक प्रयासों से एक सार्थक समाधान पर पहुंचें. हिंसा और टकराव को हर हाल में टाला जाना चाहिए. लद्दाख के लोगों की मांगें, जिनमें राज्य का दर्जा, संविधान की छठी अनुसूची में शामिल किया जाना, जनजातीय समुदायों के लिए सुरक्षा, नौकरियों, संस्कृति और पारिस्थितिकी के लिए सुरक्षा उपाय शामिल हैं, जायज हैं और इन पर तत्काल ध्यान दिए जाने की आवश्यकता है.”
उन्होंने कहा कि छठी अनुसूची के अंतर्गत समावेशन और सांस्कृतिक-पारिस्थितिक सुरक्षा के मुद्दे लंबे समय से लंबित हैं. Governmentों ने इन आवश्यकताओं को माना है, इसके बावजूद, राज्य का मुद्दा हाल ही में उभरा है. लद्दाख की नाजुक पारिस्थितिकी, विशिष्ट आदिवासी पहचान और सामरिक महत्व को देखते हुए, इन सुरक्षा उपायों में अब और देरी नहीं की जा सकती. Government को इन पर निर्णायक कदम उठाने चाहिए.
प्रोफेसर सलीम इंजीनियर ने आगे कहा, ”लोगों की एक और गंभीर चिंता चीन द्वारा भारतीय क्षेत्र पर कथित अतिक्रमण और बड़े पैमाने पर जमीन निगमों को सौंपा जाना है, जिससे चरवाहों और स्थानीय समुदायों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है. इन चिंताओं का पूरी गंभीरता से समाधान किया जाना चाहिए क्योंकि India की क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा और स्थानीय आजीविका की रक्षा सर्वोपरि है.”
उन्होंने कहा कि Government को सहानुभूति दिखानी चाहिए, सभी हितधारकों की बात ईमानदारी से सुननी चाहिए और लोगों की वास्तविक आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए समयबद्ध कदम उठाने चाहिए.
इंजीनियर सलीम ने लद्दाख में कार्यकर्ता सोनम वांगचुक की गिरफ्तारी की निंदा करते हुए कहा कि राज्य का दर्जा और संवैधानिक सुरक्षा उपायों की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शनों के दौरान हुई हालिया हिंसा बेहद चिंताजनक है. हालांकि, शांतिपूर्ण असहमति जताने वालों और कार्यकर्ताओं को निशाना बनाना अनुचित है. हम Government से सोनम वांगचुक को तुरंत रिहा करने और मौजूदा संकट को हल करने के लिए लद्दाख के लोगों के साथ सार्थक, रचनात्मक बातचीत करने का आग्रह करते हैं.
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एएसएच/डीएससी
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